
धर्मशाला में मैच देखने के साथ घूमने का आनंद लेने मैक्लोडगंज पहुंचे अर्शदीप के माता-पिता

(TTT पूरा इंडिया घूम चुके हैं, लेकिन जो सुकून धर्मशाला घूमने से मिलता है, उतना और कहीं नहीं मिलता। बेटा पंजाब किंग्स इलेवन से धर्मशाला मैच खेलने आया तो हम भी यहां घूमने चले आए। कहते हैं कि किसी भी टीम को होमग्राउंड का फायदा मिलता है, लेकिन पंजाब के 12 वर्ष बाद फायदा मिला है, जैसा की कहा जा रहा है। यह बात पंजाब किंग्स इलेवन के खिलाड़ी अर्शदीप के पिता दर्शन सिंह और माता बलजीत कौर ने कही। धर्मशाला में मैच देखने के साथ घूमने का आनंद लेने पहुंचे अर्शदीप के माता-पिता मंगलवार को मैक्लोडगंज घूमने पहुंचे थे, जहां उन्होंने स्थानीय पकवानों का आनंद लिया, साथ ही खरीददारी भी की।
माता-पिता यही चाहते हैं के बच्चे जीतें
माता बलजीत कौर ने कहा कि इंडिया टीम के लिए अर्शदीप अच्छा खेल रहा है और आईपीएल में भी बेहतर प्रदर्शन कर रहा है, हमें उम्मीद है कि आगे भी अर्शदीप और अच्छा करेगा। अब तक पूरा इंडिया घूम लिया है, जितना सुकून धर्मशाला-मैक्लोडगंज आकर मिलता है, उतना सुकून कहीं नहीं मिलता।
धर्मशाला स्टेडियम बहुत खुबसूरत है। उन्होंने कहा कि माता-पिता यही चाहते हैं कि बच्चे जीतें, मन तो यही है कि धर्मशाला से जीतकर जाएंगे और इस बार ट्राफी अपनी होगी।
बच्चा अच्छा करे तो खुशी होती है
पिता दर्शन सिंह ने कहा कि जब किसी का बच्चा देश का प्रतिनिधित्व करता है तो माता-पिता के लिए इससे बड़ी खुशी की बात कोई नहीं होती। देश के विभिन्न हिस्सों सहित पंजाब में बहुत गर्मी है, हम यहां आकर अच्छा महसूस कर रहे हैं। धर्मशाला में जैसे पहला मैच हुआ है, उम्मीद है कि बाकी मैच भी अच्छे होंगे।
पंजाब और दिल्ली टॉप फॉर के लिए पात्र

अर्शप्रीत सिंह के पिता ने कहा कि पंजाब और दिल्ली की टीमें टॉप फॉर के लिए पात्र हैं और फाइट कर रही हैं ऐसे में अच्छा मैच होगा। धर्मशाला, पंजाब किंग्स का होम ग्राउंड हैं, कहते हैं होम ग्राउंड का फायदा होता है, लेकिन अभी तक नहीं हुआ है। कहा जा रहा है कि करीब 12 वर्ष बाद पंजाब किंग्स इलेवन की टीम धर्मशाला में मैच जीता है। हम यहां तीनों मैचों को देखने का शेडयूल बनाकर आए हैं।
6 साल की उम्र से क्रिकेट में झुकाव
गौरतलब है कि अर्शप्रीत सिंह के पिता दर्शन सिंह पंजाब के जिला गुरदासपुर से क्रिकेट खेलते थे। अर्शप्रीत का 6 साल की उम्र से क्रिकेट के प्रति झुकाव था, जिस पर पिता ने उसे क्रिकेट में आगे बढऩे को प्रेरित किया। अर्शप्रीत सिंह के पिता सीआईएसएफ से रिटायर हुए हैं।
